दो वर्ष हुए अन्ना हज़ारे ने भ्रष्ट्राचार विरोधी आंदोलन शुरू
किया, क्या है उसकी पृष्ठि भूमि-? जब-तक हम उसे नहीं समझेगे
तब-तक आम आदमी पार्टी को समझना बड़ा सवाल है ! आज़ादी के पश्चात पहली बार एक राजनीतिक पार्टी के रूप मे विदेशी शण्यंत्र सामने आया है उसे प्रत्येक भारतीय को समझने की अवस्यकता है जिस आंदोलन के परिणाम स्वरूप मे यह पार्टी आयी है उस समय विश्व का वातावरण बड़ा ही अजीबो-गरीब
था दुनिया के बड़े-बड़े देश आंदोलनो की भेट चढ़ गए मिश्र जैसे देश में सत्ता परिवर्तन
हुआ विदेशी मिशनरियाँ भारत के अंदर अ-स्थिरता पैदा करने की कोशिस की उन लोगो ने भारत
के अंदर एनजीओ, आइएनजीओ को हथियार बना लाखों, करोणों की फंडिंग कर देश के अंदर सीधे-सादे देशभक्त जिनका जन विसवास हो चयन
करना शुरू किया उसमे सिविल सोसायटी का गठन किया क्या है सिबिल सोसायटी-? जिसने अन्ना जैसे गांधीवादी को बाबा रामदेव
के राष्ट्रवादी भ्रष्ट्राचार विरोधी आंदोलन के विकल्प के रूपमे लाकर दिल्ली
मे खड़ा कर दिया पूरा देश ठगा गया--! लेकिन विदेशी आकलन कर्ताओं को यह
पता नहीं था की यह देश 125 करोंण का है यहाँ हिन्दू रहते है ये भारत है ये अ-स्थिर
नहीं हो सकता।
केजरीवाल आयकर विभाग मे सर्विस करते हुए एनजीओ चलते
थे किसी भी एनजीओ मे धन लेने के लिए कमीशन पहले ही देना पड़ता है फिर कोई भी एनजीओ वाला
कैसे ईमानदार हो सकता है-! लेकिन बहुत बुद्धिमानी से एनजीओ के लोगो ने अन्नाहज़ारे को
फसा लिया अरविंद के अधिकारी रहे उदितराज ने लिखा है की अरविंद का कोई ऐसा काम नहीं रहा
की उन पर भरोसा किया जा सके नौकरी करते हुए उन्होने कोई उल्लेखनीय कार्य नहीं किया
है, केजरीवाल ने बड़ी होसियारी से ‘आम आदमी पार्टी’ अन्ना से अलग होकर बनाई 'आम आदमी पार्टी' के पीछे कौन है सीआईए, चर्च, वामपंथी और इस्लामिक आतंकवादी इनके पीछे हैं यह
पार्टी आतंकवाद के मुद्दे, अलगाववाद के मुद्दे, कश्मीर के मुद्दे और राष्ट्रिय सुरक्षा के किसी मुद्दे पर नहीं बोलती पार्टी
का स्टैंड प्रशांत भूषण बोलते हैं वे आईएसआई की योजना को धीर धीरे लगी करने के प्रयास मे है उसी की एक कड़ी कश्मीर को भारत से अलग करने की मांग हैं
वे इस पर लगातार बोल रहे हैं कहीं न कहीं केजरीवाल इनकी बात का कोई खंडन भी नहीं करते ‘आप’ इस पर कुछ नहीं बोलेगा-! क्यो की इनके
आका विदेश मे बैठे हैं हर कदम विदेशी आकाओं की ईक्षा पर निर्भर है, पार्टी को दिल्ली मे 3% चर्च 11% इस्लामिक आतंकवादी और ४% बांग्लादेशियों का थोक मत मिला जो इनके
चुनाव प्रचार दिखाई पड़ा कुछ भटके हुए ईमानदारी के बेकुफ़ दीवाने जिनहे देश समझ मे नहीं
आ रहा अरविंद का संबंध कहा है जब-तक देश जानेगा तब-तक कहीं कुछ गड़बड़ न हो जाय इसलिए सीबीआई
को चाहिए की इसके खातों आय की जांच करे, भारत के लोग सीधे-सादे
हैं राज्यपाल के अभिभाषण मे भ्रष्टाचार का कोई मुद्दा नहीं आया, आगे आयेगा भी नहीं केजरीवाल की पूरी टीम एनजीओ वाली है जिस पर भरोसा करना
देश को धोखा देना है जो नरेंद्र मोदी देश का हीरो है गरीबी से आया ब्यक्ति गुजरात मे देश को एक ट्रेलर
दिखा दिया, स्वयंभू ईमानदार केजरीवाल की टीम को उसी गुजरात मे भ्रष्टाचार दिखाई देता है जो अपने चुनाव
मे आतंकवादियो का सहारा लेता है देश की सुरक्षा, आतंकवाद, कश्मीर जैसे समस्या पर उनके पास कोई चिंतन नहीं, वह नरेन्द्रमोदी को चुनौती देना चाहता है इसका मतलब
क्या है ?
2 टिप्पणियाँ
आमआदमीपार्टी की जड़ कहाँ है इसका पता लगाना जरूरी है चर्च,अति वामपंथी और एनजीओ के गठबंधन नाम है ''आप'' यदि समाज सचेत नहीं हुआ तो ये बहुत जल्दी ही वह राग अलापेगे जो इनके आका चहेगे जैसे प्रशांत भूषण ने कश्मीर पर भुकाना शुरू कर दिया है।
जवाब देंहटाएंआखिर जिसने लगानी किया है वह तो ब्याज सहित वसूलेगा ही--------!
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